1,629 के एवज में 145 किसानों को मिला केसीसी ऋण
किशनगंज । किसानों को खेती करने में आर्थिक कठिनाइयों का सामना नही करना पड़े। इसके लि
किशनगंज । किसानों को खेती करने में आर्थिक कठिनाइयों का सामना नही करना पड़े। इसके लिए सरकार द्वारा किसानों को केसीसी ऋण उपलब्ध करवाए जाते हैं, लेकिन अधिकारियों व बैंकों की उदासीनता कहें या प्रचार प्रसार का अभाव अधिकांश किसानों को ऋण का लाभ नहीं मिल पाता है। जिससे किसान महाजनों से कर्ज लेकर खेती करने पर मजबूर हो जाते हैं। इसकी चर्चा इसलिए की जा रही है कि 15 सितंबर को जिला के सभी प्रखंड मुख्यालय में केसीसी ऋण शिविर लगाए गए थे। सात प्रखंड में कुल 1,629 किसानों ने केसीसी ऋण के लिए आवेदन दिए। इनमें से केवल 802 आवेदन ही ऋण के लिए बैंक भेजे गए। कागजातों की जांच प्रक्रिया पूरी करने के बाद बैंक द्वारा मात्र 145 किसानों को ही ऋण उपलब्ध कराया जा सका। इन किसानों को 133.39 करोड़ रुपये के ऋण उपलब्ध करवाए गए। अब बचे 1484 किसानों को कब ऋण मिलेगा इसका ठोस जबाब अधिकारी नहीं दे पा रहे हैं। सात प्रखंड में से मात्र तीन प्रखंड के किसानों को ही केसीसी ऋण उपलब्ध कराए गए। जिसमें किशनगंज, कोचाधामन व ठाकुरगंज शामिल हैं। बांकी बचे चार प्रखंड में से एक टेढ़ागाछ में एक भी किसानों ने आवेदन नहीं दिया। वहीं बहादुरगंज, दिघलबैंक व पोठिया में किसानों के आवेदन बैंक में भेजने के बाद भी ऋण नहीं दिया जाना शिविर की विफलता को दर्शाता है। हालांकि अधिकारियों का कहना है कि जिन किसानों के कागजात आवेदन के साथ पूर्ण थे उन्हें त्वरित कार्रवाई करते ऋण उपलब्ध करवा दिया गया। लेकिन जिनके कागजात में कुछ कमी है उन्हीं किसानों को ऋण उपलब्ध नहीं हो पाया है। ऐसे में ऋण से वंचित किसान परेशान हाल हैं। हालांकि केसीसी ऋण शिविर लगाने से पूर्व कृषि विभाग को व्यापक प्रचार प्रसार करने का निर्देश दिया गया था। साथ ही किसानों के बीच जागरुकता भी चलानी थी। इसके लिए प्रत्येक प्रखंड मुख्यालय में किसान सलाहकारों को कम से कम 300 किसानों से मिल कर केसीसी ऋण के लिए आवेदन फार्म जमा करवाने थे। लेकिन दुर्भाग्यवश ऐसा नहीं हो पाया।
827 किसानों के फॉर्म नहीं भेजे गए बैंक
कृषि ऋण शिविर में 1629 किसानों द्वारा दिए गए आवेदन में से मात्र 802 किसानों के ही आवेदन बैंक भेजे गए। बचे 827 किसानों को आवेदन फार्म बैंक भेजे जाने का इंतजार है। आवेदन बैंक भेजे जाने के बाद भी 657 किसानों को ऋण नहीं मिलने से उन्हें खेती का संकट मंडरा रहा है। इस तरह 1629 में से 145 किसानों को ऋण मिलने के बाद 1,484 किसान ऋण के लिए परेशान हैं। केसीसी ऋण के लिए किसानों को अपना आधार कार्ड की छाया प्रति, अद्यतन लगान रशीद की छाया प्रति, भू-स्वामित्व प्रमाण पत्र, दो फोटो और नोटरी पब्लिक से शपथ पत्र लगा कर प्रखंड कृषि कार्यालय और ई किसान भवन में जमा करवाना अनिवार्य किया गया है।
----ग्राफिक्स के लिए------
प्रखंड --सृजित आवेदन बैंक गए आवेदन किसान की संख्या वितरित राशि
किशनगंज - 371 251 120 106.26 करोड़
कोचाधामन- 53 41 07 07 लाख
बहादुरगंज - 288 56 00 00
दिघलबैंक - 240 240 00 00
ठाकुरगंज - 243 113 18 20.13 लाख
पोठिया - 105 101 00 00
टेढ़ागाछ - 329 00 00 00 = कोट के लिए= किसान फसल उत्पादन बढ़ा सके और कर्ज के लिए महाजनों के चंगुल में नही फंसे। इसके लिए किसानों को केसीसी ऋण उपलब्ध करवाने के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। लेकिन पिछले दिनों लगाए गए केसीसी ऋण शिविर में कम आवेदन मिलने से जाहिर होता है कि किसानों में जागरूकता की कमी है। उम्मीद है अगले केसीसी ऋण शिविर में अधिक से अधिक किसान इससे लाभान्वित हो पाएं इसके लिए विभागीय प्रयास तेज कर दिया गया है। कई प्रखंड से एक भी केसीसी फार्म बैंक नही भेजा जाना अत्यंत ही दुखद रहा।
-संत लाल साहा, जिला कृषि पदाधिकारी।
== कोट के लिए ==
केसीसी ऋण शिविर में जितने किसानों द्वारा आवेदन दिए गए हैं। उन सभी आवेदनों को बैंक भेजा जाएगा। कुछ आवेदन फार्म में जरूरत के अनुसार कागजात नही लगाए गए हैं। जिसके कारण मजबूरन आवेदन फार्म बैंक भेजना संभव नही हो पाया है। 15 सितंबर को केसीसी ऋण शिविर में 1,629 आवेदन आए। इनमें से 802 आवेदन बैंक भेजे गए और 145 किसानों को केसीसी ऋण मिला। इसके अलावा पूर्व में दिए गए 46 केसीसी आवेदन को नवीकृत कर इनके बीच 42.95 लाख रुपये के ऋण दिए गए।
-मनोज तिवारी, एलडीएम।
संस.,