Aurangabad: हद है भई...इधर कोरोना वायरस मर रहे लोग, उधर अस्पताल में हो रही मॉकड्रिल
औरंगाबाद में काेेरोनावायरस कहर बरपा रहा है। हर दिन संक्रमितों की मौत हो रही है। इधर अस्पताल में अब तक आइसीयू की सुविधा शुरू भी नहीं हो सकी है। अब तक अस्पताल प्रशासन मॉकड्रिल ही कर रहा है।
By Vyas ChandraEdited By: Published: Sun, 02 May 2021 06:06 PM (IST)Updated: Sun, 02 May 2021 06:06 PM (IST)
औरंगाबाद, जागरण संवाददाता। जिले में कोरोना ने विकराल रूप धारण कर लिया है। हर दिन कोरोना संक्रमितों की मौत हो रही है। इधर जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग ने वाहवाही लूटने के लिए पांच दिन पहले ही विज्ञप्ति जारी कर कह दिया कि सदर अस्पताल में आइसीयू (ICU) चालू हो गया है। लेकिन हकीकत यह है रविवार को भी आइसीयू चालू नहीं हुआ। अभी तक प्रशिक्षण और मॉकड्रिल ही चल रहा है।जिले में कोरोना की दूसरी लहर के कारण अब तक दर्जनों लोगों की मौत हो चुकी है। इसके बावजूद स्वास्थ्य विभाग व जिला प्रशासन की ओर से कोई समुचित कार्रवाई नहीं की गई। कोरोना मरीजों को वेंटिलेटर की सुविधा नहीं मिलने से वे असमय ही मौत के गाल में समा रहे है।
हैं छह वेंटिलेटर लेकिन किसी काम के नहीं
बता दें कि कई ऐसे मरीज थे जिन्हें समय पर वेंटिलेटर मिल जाता तो उनकी जान बच जाती। सदर अस्पताल में छह वेंटिलेटर है भी। लेकिन अब तक इन्हें चालू नहीं किया गया है। इसका खामियाजा आम लोगों को भुगतना पड़ रहा है। जब मरीज काफी गंभीर स्थिति में पहुंच जाते हैं तो उन्हें गया एवं पटना रेफर कर दिया जाता है। जाने के क्रम में या फिर मरीजों को समुचित इलाज के अभाव में मौत हो जाती है। सदर अस्पताल के आइसीयू में सीरियस मरीज को रखने की व्यवस्था है। लेकिन स्वास्थ्य विभाग वेंटिलेटर को चालू करने की दिशा में कोई ठोस पहल नहीं कर रहा है। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी आइसीयू शुरू किए जाने का दावा कर रहे हैं। परंतु यह धरातल पर दिख नहीं रहा है। एक तरफ प्रतिदिन मरीज मर रहे हैं तो दूसरी ओर विभाग के द्वारा नर्स एवं अन्य स्वास्थ्यकर्मियों को प्रशिक्षण ही दिया जा रहा है।
ऑक्सीजन कंसंंट्रेटर लेकर घूम रहे मरीज
सदर अस्पताल की स्वास्थ्य व्यवस्था इस तरह चरमरा गई है कि मरीजों को बेड तक नसीब नहीं हो रही है। मरीज ऑक्सीजन कंसंंट्रेटर मशीन को लेकर घूम रहे हैं। यह विचित्र स्थिति रविवार को सदर अस्पताल में देखने को मिली। मरीज इलाज के लिए तड़प रहे हैं, पर इलाज नहीं मिल पा रहा है। मरीज छटपटा रहे हैं। डीपीएम डॉ. कुमार मनोज ने बताया कि अस्पताल में आइसीयू के लिए मॉक ड्रिल कर दिया गया है। कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इलाज जल्द शुरू किया जाएगा।
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