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Bihar Panchayat Chunav: रोहतास में चर्चा का केंद्र बना काम की चीज वाला लिफाफा, कुछ को मिला कुछ कर रहे इंतजार

सासाराम में ईमानदारी सेवा व समर्पण के नाम पर चुनाव में उतरे प्रत्याशी जनता से लुभावने वादे कर रहे हैं। अभी तक जितने चुनाव हुए हैं उनमें अधिकतर प्रतिनिधियों की कुर्सी चली गई है। ऐसे में कई के पसीने छूट रहे हैं।

By Prashant Kumar PandeyEdited By: Published: Wed, 13 Oct 2021 05:40 PM (IST)Updated: Wed, 13 Oct 2021 05:40 PM (IST)
Bihar Panchayat Chunav: रोहतास में चर्चा का केंद्र बना काम की चीज वाला लिफाफा, कुछ को मिला कुछ कर रहे इंतजार
अपने पक्ष में वोट देने के लिए घर-घर पहुंच रहे कुछ प्रत्याशी समर्थकों के हाथ में लिफाफा थमा रहे

संवाद सूत्र, नोखा : रोहतास। प्रखंड में पंचायत चुनाव को लेकर विभिन्न पदों के प्रत्याशी सघन जनसंपर्क कर रहे हैं। इस बीच कुछ गांवों में काम की चीज वाला लिफाफा, चर्चा का केंद्र बन गया है। कुछ उसका इंतजार कर रहे हैं, तो कुछ के पास पहुंच गया है। ग्रामीणों की मानें तो अपने पक्ष में वोट देने के लिए घर-घर पहुंच रहे कुछ प्रत्याशी समर्थकों के हाथ में लिफाफा थमा रहे हैं। जब मतदाता पूछते हैं कि एह लिफाफा में का बा, तो प्रत्याशी का उत्तर होता है कि आशीर्वाद दिहीं, रउवा काम के चीज बा...।  

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छिप-छिपाकर खर्च करने की होड़

मतदाता को तरह-तरह का प्रलोभन देने का प्रयास किया जा रहा है। सबसे महंगा पंचायत छतौना व हथिनी को माना जा रहा है, जहां प्रत्याशियों में छिप-छिपाकर खर्च करने की होड़ लगी है। प्रबुद्ध लोगों का कहना है कि ईमानदारी, सेवा व समर्पण के नाम पर चुनाव में उतरे प्रत्याशी जनता से लुभावने वादे कर रहे हैं। 

पहले पंचायत प्रतिनिधि जनता का सेवक होते थे, लेकिन अब यह कमाई का जरिया

चाय की दुकान पर बैठे 80 वर्षीय पूर्व शिक्षक हवलदार सिंह कहते हैं कि पहले पंचायत प्रतिनिधि जनता का सेवक होते थे, लेकिन अब यह पद कमाई का जरिया बन गया है। प्रखंड के अधिकांश पंचायतों में नल जल योजना की स्थिति खराब है। अभी तक जितने चुनाव हुए हैं, उनमें अधिकतर प्रतिनिधियों की कुर्सी चली गई है। ऐसे में कई के पसीने छूट रहे हैं। 

बता दें कि बिहार पंचायत चुनाव में इस बार कई जगहों पर पंचायत की जनता ने नए चेहरे को ही ज्यादा तवज्जो दिया है। क्षेत्र में काम नहीं करने वालों को इस बार जनता ने करारा तमाचा जड़ा है । नल जल योजना में भी केवल नाम के लिए कई जगहों पर काम हुआ है जिससे जनता काफी नाराज है और इस बार नए लोगों को मौका देकर अपने क्षेत्र का विकास चाह रही है।


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