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Nawada Crime: एक माह बाद भी नहीं सुलझी शिवशंकर हत्याकांड व बेटी के अपहरण की गुत्थी, पुलिस खाली हाथ

नवादा के वारिसलीगंज थाना क्षेत्र से 15 दिसंबर 20 की रात घर में सोए शिवशंकर सिंह की गला रेतकर हत्‍या और बेटी के लापता होने के मामले का पर्दाफाश एक महीने बाद भी पुलिस नहीं कर सकी है।

By Vyas ChandraEdited By: Published: Sat, 16 Jan 2021 11:10 AM (IST)Updated: Sat, 16 Jan 2021 12:14 PM (IST)
Nawada Crime: एक माह बाद भी नहीं सुलझी शिवशंकर हत्याकांड व बेटी के अपहरण की गुत्थी, पुलिस खाली हाथ
घटना के बाद से लापता शालिनी। फाइल फोटो

संवाद सूत्र, वारिसलीगंज (नवादा)। वारिसलीगंज थाना क्षेत्र के वार्ड संख्या- 06 समीचक के पावर हाउस मुहल्ला निवासी शिवशंकर सिंह की हत्या और उनकी बेटी के अपहरण की घटना के एक माह हो चुके हैं।  लेकिन अभी तक पुलिस इस मामले में खाली हाथ है। डॉग स्क्वायड से लेकर वैज्ञानिक अनुसंधान भी पुलिस को घटना का सुराग नहीं दिला सकी है। घटना वारिसलीगंज थाना से दक्षिण महज 500 मीटर की दूरी पर स्थित बिजली ऑफिस के पीछे बसे समीचक मुहल्ले की है।

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15 दिसंबर की रात अपराधियों ने 55 वर्षीय शिवशंकर सिंह की गला रेतकर हत्या कर दी थी। पास में सोयी 16 वर्षीय पुत्री शालिनी उर्फ छोटकिन घटना के बाद से गायब है। तब से पकरीबरावां के एसडीपीओ मुकेश कुमार साहा के नेतृत्व में अनुसंधान कर रही पुलिस कोई सुराग तक नहीं ढूंढ सकी है।

डीआईयू  मामले के अनुसंधान में कर रही सहयोग

शिवशंकर हत्याकांड और बेटी के अपहरण की गुत्थी सुलझाने में डीआईयू भी वारिसलीगंज पुलिस को सहयोग कर रही है। लेकिन अबतक कोई सफलता हाथ नहीं लगी है। स्‍वजनों का कहना है कि शालिनी कभी मोबाइल नहीं रखती थी। वह कम पढ़ी लिखी थी। जरूरत पड़ने पर ही वह घर से बाहर निकलती थी। लोगों का मानना है अपराधी शालिनी का अपहरण करने ही आया होगा। जबरन उसे उठाकर ले जाने के दौरान पास सोए पिता की नींद खुल गई होगी। इस कारण शिवशंकर की हत्या कर दी गई।  

हत्या के कारणों का नही हो सका पर्दाफाश

शिवशंकर सिंह की हत्या और बेटी के अपहरण मामले का अब तक खुलासा नही होना कई सवाल को जन्म दे रहा है। अपराधी शिवशंकर की हत्या करने की नीयत से आए था या बेटी का अपहरण करने के उद्देश्य से, अभी तक यहां भी पुलिस नहीं पहुंच सकी है। पड़ोसियों के अनुसार शिवशंकर सिंह पहले वाहन चालक का काम करता था। जब आंख से कम दिखने लगा तब बिजली ऑफिस के पास गुमटी में दुकान खोल ली थी। वह तीन भाइयों में सबसे छोटा भाई था। एक भाई उसके पास ही मकान बनाकर रह रहे है जबकि दूसरे सबसे बड़े भाई नवादा में शिफ्ट कर गये है।। मृतक की पत्नी अर्धविक्षिप्त है। जबकि दो अविवाहित पुत्रों में से एक नवादा के किसी दुकान में नौकरी करता है। और दूसरा स्थानीय बाजार में वाहन चालक है।


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