आपके घर के कचरा से जैविक खाद बना रहा नगर निगम, जानिए कितनी गंदगी निकलती है शहर से एक दिन में
गया नगर निगम की ओर से कचरे से जैविक खाद बनाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। फिलहाल गीले कचरे का उपयोग किया जा रहा है। तैयार खाद कृषि विभाग को छह रुपये की दर से दी जाएगी।
जेएनएन, गया। शहर में हर दिन निकलने वाले कचरे के निष्पादन को लेकर नगर निगम काफी गंभीर है । इसी क्रम में कचरे का निष्पादन करने के लिए पांच मशीन की खरीदारी की गई। सुखद बात यह कि इन मशीनों का उपयोग कचरे से जैविक खाद बनाने में किया जा रहा है। सरकार का निर्देश है कि हर हाल में कचरे का निष्पादन होना चाहिए। ऐसा नहीं होने पर स्वच्छ भारत मिशन के तहत मिलने वाली राशि का भुगतान नगर निगम को नहीं होगा।
50 लाख से खरीदी गई पांच मशीनें- नगर निगम ने कचरे से जैविक खाद बनाने के प्रक्रिया प्रारंभ कर दी है। जैविक खाद बनाने को लेकर नगर निगम ने 50 लाख कीमत की 5 मशीनों की खरीदारी की। इनमें से तीन मशीन विष्णुपद शमशान घाट तथा दो मशीन अक्षय वट पिंड बेदी के पास लगाई गई है। विष्णुपद श्मशान घाट पर स्थित मशीन से जैविक खाद तैयार की जा रही है। प्रत्येक दिन तीन से चार सौ किलो जैविक खाद बनती है। नगर निगम के सफाई पदाधिकारी शैलेंद्र कुमार सिन्हा ने बताया कि विष्णुपद में जैविक खाद कचरे से बन रही है। अभी शहर के दक्षिणी भाग के वार्ड संख्या 38, 39, 40, 41, 42, 43, 44, 45 एवं 46 वार्ड से गीला और सूखा कचरा को अलग-अलग छांटा जा रहा है। गीले कचरे से जैविक खाद बन रही है। सूखे कचरा को अलग रखा जा रहा है। इनकी बाद में बिक्री होगी।
ढाई सौ टन कचरा हर दिन निकलता है शहर में- शहर में प्रत्येक दिन ढाई सौ टन कचरा निकलता है। इनमें से 60 फ़ीसद गीला एवं 40 फ़ीसदी सूखा कचरा रहता है। गीला कचरा से खाद बनाने के लिए सभी वार्डों में तैयारी चल रही है। कुछ ही दिनों में सभी वार्डों में गीले कचरे से जैविक खाद तैयार होने लगेगा। इससे नगर निगम की प्रत्येक दिन चार से पांच लाख रुपये की बचत होगी। वहीं तैयार जैविक खाद नगर निगम, कृषि विभाग को 6 रुपये प्रति किलो की दर से देगा जिससे निगम की आय में वृद्धि होगी।