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बिहार के गया में आज साल की सर्वाधिक ठंड, अभी और गिरेगा पारा ...जानिए मौसम का पूर्वानुमान

Gaya Weather Forecast बिहार के गया में आज का रविवार साल का सर्वाधिक ठंडा दिन है। पछुआ हवा के कारण ठंड अभी औरा बढ़ेगी। ठंड का असर आम जनजीवन पर पड़ने लगा है। जानिए गया के मौसम का पूर्वानुमान।

By Amit AlokEdited By: Published: Sun, 19 Dec 2021 09:49 AM (IST)Updated: Mon, 20 Dec 2021 09:30 AM (IST)
बिहार के गया में आज साल की सर्वाधिक ठंड, अभी और गिरेगा पारा ...जानिए मौसम का पूर्वानुमान
बिहार में ठंड के दौरान अलाव बना सहारा।

गया, जागरण संवाददाता। Gaya Weather Alert: गया में सर्दी का सितम निरंतर जारी है। न्यूनतम पारा हर दिन एक नया रिकार्ड बना रहा है। रविवार को इस साल का सबसे न्यूनतम पारा 5.3 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से चार डिग्री सेल्सियस कम था। इस तरह छुट्टी का दिन सबसे अधिक ठंडा (Coldest Day in Gaya) साबित हुआ। बीते 48 घंटों से गया शहर समेत ग्रामीण इलाकों में पछुआ हवा (Westerly Wind) निरंतर बह रही है। इसकी वजह से ठंड अधिक महसूस हो रही है। मौसम विज्ञानी डा. जाकिर हुसैन के अनुसार ठंड अभी और बढ़ेगी।

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गया में न्यूनतम तापमान सामान्य से चार डिग्री कम

गया में आज रविवार का न्यूनतम तापमान सामान्य से चार डिग्री कम है। पछुआ हवा के कारण सुबह-शाम कनकनी है। आम जनजीवन ठंड से परेशान है। फुटपाथी दुकानदारों, रिक्शा ठेला चालकों, गरीब-गुरबों के लिए सर्द रात काटना बड़ी कष्टदायक हो गया है। शहरी क्षेत्र में अभी तक अलाव जलना शुरू नहीं हुआ है। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार अभी पछुआ हवा जारी रहेगी। इससे ठंड का प्रकोप भी जारी रहेगा। ठंड में और बढ़ातरी ही होगी।

ठंड का सेहत पर पड़ा असर, बीमार पड़ रहे लोग

इस बीच ठंड की वजह से लोग बीमार हो रहे हैं। सर्दी-जुकाम और बदन दर्द की समस्याएं आम हो गई हैं। खासकर छोटे बच्चे ठंड से बीमार पड़ रहे हैं। इस बीच चिकित्सकों ने ठंड को देखते हुए छोटे बच्चों, बुजुर्गों और बीमार लोगों की अच्छी तरह से देखभाल करने की सलाह दी है। छोटे बच्चों को मौजा व टोपी के साथ गर्म कपड़े पहना कर रखने की सलाह दी गई है।

ठंड से जानवर भी परेशान, पशुपालक हुए सतर्क

ठंड की वजह से जनवरों की परेशानी भी बढ़ी हुई है। शहर में खुले में घूमने वाले मवेशी ठंड की चपेट में आ रहे हैं। गांव-देहात में पशुपालक भी अपने जानवरों को लेकर सतर्क हो गए हैं।


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