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बिहार में शराबबंदी के बाद गांजा के सेवन में हो गई वृद्धि, गया में झारखंड से खेप ला रहा चालक गिरफ्तार

झारखंड की ओर से आ रहा उक्त ट्रक नंबर जैसे ही चैकपोस्ट के पास पहुंचा ब्रैकेटिंग कर दी गयी जिससे भागने का कोई रास्ता नही मिल सके। ट्रक को चारों तरफ से घेर लिया गया। सैप के जवानों में ट्रक के चालक को उतारकर अपने कब्जे में लिया।

By Prashant KumarEdited By: Published: Mon, 23 Aug 2021 12:40 PM (IST)Updated: Mon, 23 Aug 2021 12:40 PM (IST)
बिहार में शराबबंदी के बाद गांजा के सेवन में हो गई वृद्धि, गया में झारखंड से खेप ला रहा चालक गिरफ्तार
गांजा की खेप के साथ गिरफ्तार चालक। जागरण।

संवाद सूत्र, डोभी (गया)। राष्ट्रीय राजमार्ग पर गया समेकित जांच चौकी पर रविवार को उत्पाद विभाग ने वाहन जांच के क्रम में एक ट्रक को पकड़ा। ट्रक झारखंड की ओर से आ रहा था। उत्पाद विभाग के इंस्पेक्टर दीपक कुमार सिंह ने बताया कि गुप्त सूचना मिला था कि ट्रक नंबर (यूपी 14ईटी 1032) से मादक पदार्थ की तस्करी हो रही है जो झारखंड से अन्य राज्यों को ले जाया जाता है। इसी सूचना पर आज उत्पाद विभाग के जवानों की सुबह से मुस्तैदी से ड्यूटी करने का निर्देश दिया गया।

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झारखंड की ओर से आ रहा उक्त ट्रक नंबर जैसे ही चैकपोस्ट के पास पहुंचा ब्रैकेटिंग कर दी गयी, जिससे भागने का कोई रास्ता नही मिल सके। ट्रक को चारों तरफ से घेर लिया गया। सैप के जवानों में ट्रक के चालक को उतारकर अपने कब्जे में लिया और उत्पाद विभाग के चालक के द्वारा ट्रक को चेकपोस्ट एरिया में लाया। जिसके बाद ट्रक की सघनतापूर्वक जांच शुरू हुआ। जांच के दौरान गांजा मिला। जो कई पैकेट में पैक था। उत्पाद विभाग ने सभी गांजा के पैकेट का भार करवाया जिसके बाद पता चला कि इस ट्रक में कुल 164 किलोग्राम गांजा था।

ट्रक चालक से पूछताछ में बताया कि वह उत्तरप्रदेश के गाजियाबाद के कविनगर का गौरव ठाकुर है। गांजा तस्कर के द्वारा मिलकर अपने ट्रक में रांची के समीप से लोड किया था और उत्तरप्रदेश के इटाह को ले जाना था। बरामद गांजा की कीमत स्थानीय बाजार में लगभग 40 लाख रुपया बताया जाता है। उत्पाद विभाग ने पकड़े गए चालक को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया वही गांजा और ट्रक को जप्त कर लिया है। ट्रक के रजिस्टेशन नंबर के आलोक में इसके मालिक पर भी प्राथमिकी दर्ज की जायेगी।

गौरतलब है कि बिहार में शराबबंदी के बाद सूखे नशा के सेवन बढ़ गया है। पान दुकानों पर भी गांजा पीने के लिए री-जला (एक तरह का पेपर) धड़ल्‍ले से बिक रहा है। ल‍ेकिन, पुलिस-प्रशासन को कोई फर्क नहीं पड़ रहा।


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