कर्मनाशा नदी के तट पर कैमूर में पहुंचता था हिरण का झुंड, अब क्यों नहीं आते; सामने आई ये बड़ी वजह
एक वक्त था जब कर्मनाशा नदी के तट पर हिरण का झुंड विचरण करने आता था। धरती के सौंदर्य का लुत्फ उठाने वाले वन प्राणी आज यहां आने से कतरा रहे हैं या यूं कहें कि अब विलुप्त हो गए हैं। इसका कारण लोगों को तब पता चला...
संवाद सूत्र, दुर्गावती (भभुआ)। एक वक्त था, जब कर्मनाशा नदी के तट पर हिरण का झुंड विचरण करने आता था। धरती के सौंदर्य का लुत्फ उठाने वाले वन प्राणी आज यहां आने से कतरा रहे हैं या यूं कहें कि अब विलुप्त हो गए हैं। इसका कारण लोगों को तब पता चला, जब दुर्गावती थाने की पुलिस ने करारी गांव के एक घर में छापेमारी की। एक व्यक्ति के घर से पुलिस ने हिरण की खाल बरामद हुई। इसके बाद गांव में चर्चाओं का बाजार गरम हो गया। लोग तरह-तरह की बातें करने लगे। थानाध्यक्ष संजय कुमार ने बताया कि गुप्त सूचना पर गांव के नसीबुद्दीन खां के घर से शनिवार की शाम एक हिरण की खाल बरामद की गई। तफ्तीश के लिए वन विभाग की टीम को सूचना दी गई है। वन विभाग पूरे मामले की छानबीन करेगी।
खाल बरामदगी के मामले में अभी किसी की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है। घर पर सिर्फ एक बुजुर्ग महिला थी। आवश्यक कार्रवाई के लिए खाल वन विभाग को सौंप दिया गया। मिली जानकारी के अनुसार पिछले कुछ वर्षों से क्षेत्र के कर्मनाशा नदी के तलहटी भागों तथा बधारो में हिरणों का झुंड विचरण करते अक्सर दिख जाते थे। लेकिन इधर इनके समूह अब कम दिख रहे हैं। एक तरफ कुत्तों के झुंड के द्वारा हमला करने तथा दूसरी तरफ इसके मांस के शौकीनों से इनकी संख्या घटने लगी है।
यह तो पहले से भी होता था कि हिरण के झुंड पर जंगली और देसी कुत्ते हमला कर देते थे। इससे हिरण घायल हो जाते थे। तत्कालीन एसपी दिलनवाज अहमद के कार्यकाल के दौरान अधौरा थाना क्षेत्र में दो मुंहा सांप, खाल आदि कई अवैध सामग्री बरामद की गई थी। इससे यह भी प्रतीत होता है कि जिले में पशुओं का शिकार करने वाले लोग भी हैं। उधर जिले में पशु तस्करी का मामला तो आए दिन सामने आ रहा है। जिसको रोकने के लिए पुलिस लगातार प्रयास कर रही है।