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सीमित संसाधनों के बीच यातायात के नियमों का पालन करना चुनौती

मोतिहारी। जिलें में यातायात नियमों की अनुपालन व्यवस्था राम भरोसे है। यातायात नियमों के अनुपालन

By JagranEdited By: Published: Sat, 28 Nov 2020 11:29 PM (IST)Updated: Sat, 28 Nov 2020 11:29 PM (IST)
सीमित संसाधनों के बीच यातायात के नियमों का पालन करना चुनौती

मोतिहारी। जिलें में यातायात नियमों की अनुपालन व्यवस्था राम भरोसे है। यातायात नियमों के अनुपालन कराने की जिम्मेवारी उन कंधों पर डाल दी गई है तो खुद इससे अंजान हैं। शहर के व्यस्ततम इलाके में होमगार्ड के जवान एवं पुलिस ट्रैफिक नियमों का पालन कराने की मशक्कत करते दिखते हैं। सीटी बजाकर व्यवस्था को पटरी पर लाने की मशक्कत करते-करते जब भी मौका मिलता है वे अपनी जेब गरम करने में कोई कोताही नहीं बरतते हैं।

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जिले में जिस प्रकार यातायात को नियंत्रण के लिए व्यवस्था की गई है, वह केवल खानापूर्ति साबित हो रहरी है। एक जमादार व 20 होमगार्ड के जवानों के कंधे पर यातायात को सुचारु रखने की जिम्मेदारी है। परिवहन विभाग का कार्यालय नवनिर्मित भवन में संचालित हो रहा है। यहां संसाधनों की कमी नहीं है। अधिकारी व कर्मी भी है। एक छत के नीचे हर प्रकार के कार्यों का निष्पादन होता है। वन वे ट्रैफिक का पालन नहीं

यातायात नियमों के अनुपालन एवं शहर में जाम की समस्या से निजात दिलाने के लिए वन वे ट्रैफिक के साथ साथ नो इंट्री लागू तो की गई है लेकिन कुछ दिनों बाद ही स्थिति जस की तस बन गई। ट्रैफिक की कमान संभाल रहे होमगार्ड के जवान एवं पुलिस के जवान नो इंट्री के नाम पर मालवाहक एवं यात्री वाहनों से प्रवेश कराने के नाम पर वसूली करने से परहेज नहीं करते। यातायात नियमों का पालन कराना मुश्किल

संसाधनों के अभाव का दंश झेल रही यातायात पुलिस के लिए नियमों का पालन कराना चुनौती बनी हुई है। अतिक्रमण के कारण सड़कें संकरी होती जा रही है। वाहनों की संख्या बढ़ती जा रही है। यातायात नियमों का उल्लंघन करने पर जब ड्यूटी पर तैनात कर्मी विरोध करते हैं तो वे उल्टे पहुंचवाले के कोपभाजन का शिकार बन जाते हैं। यहं प्रभारी का पद रिक्त है। जो पुलिसकर्मी लगाए गए हैं उन्हें एक ड्रेस के अलावा एक रसीद थमा दिया गया है। सड़क के किनारे बेवजह वाहनों को लगाने की दिशा में भी वे कार्रवाई करने में खुद को असक्षम महसूस करते हैं। लाइसेंस के लिए विभागीय प्रक्रिया अनिवार्य

परिवहन विभाग से लाइसेंस प्राप्त करने के लिए आवेदन को एक निश्चित प्रक्रिया से गुजरना होता है। लर्निंग लाइसेंस के लिए पहले आवेदन जमा करना होता है। निर्धारित शुल्क जमा कराने के बाद परिवहन कार्यालय में ऑनलाइन परीक्षा में सवालों के जवाब देने पड़ते हैं। उसी समय ऑनलाइन परिणाम कंप्यूटर स्क्रीन पर आ जाता है। परिणाम प्राप्त होने के बाद लाइसेंस निर्गत करने की अनुमति दे दी जाती है। स्थाई लाइसेंस के लिए गांधी मैदान में मोटरयान निरीक्षक के समक्ष वाहन चलाना होता है। वर्जन : संसाधनों की कमी के कारण परेशानी होती है। जो भी संसाधन उपलब्ध है उसके सहारे प्रयास किया जाता है कि यातायात व्यवस्था को ठीक रखा जा सके। एक छोटा जेसीबी की जरूरत है, ताकि सड़क पर सड़े वैसे वाहन जिनके चलते यातायात प्रभावित होता है उसे हटाया जा सके। बबन कुमार, प्रभारी, यातायात पुलिस -----------------

नोट : आप अपने सुझाव व्हाट्सएप नंबर 7004273855 पर दे सकते हैं।


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