गंगा के जलस्तर में उतार-चढ़ाव का सिलसिला जारी
गंगा के जलस्तर में उतार-चढ़ाव का सिलसिला जारी है। सोमवार की रात से आंशिक रूप से पानी घटने का सिलसिला चालू हो गया है। बावजूद दियारावासी बाढ़ आने की संभावना को लेकर काफी परेशान हैं। प्रशासन भी अपनी ओर से तैयारी में जुटा हुआ है।
बक्सर । गंगा के जलस्तर में उतार-चढ़ाव का सिलसिला जारी है। सोमवार की रात से आंशिक रूप से पानी घटने का सिलसिला चालू हो गया है। बावजूद, दियारावासी बाढ़ आने की संभावना को लेकर काफी परेशान हैं। प्रशासन भी अपनी ओर से तैयारी में जुटा हुआ है। बाढ़ आने की स्थिति में पीड़ितों को राहत शिविरों में शिफ्ट किया जाएगा।
श्रीकांत राय के डेरा गांव निवासी कृष्णा यादव, लक्ष्मण साहनी, विश्राम यादव भुवर यादव, दिनेश राम, शेख मुख्तार अंसारी, रामाशीष यादव, सुरेंद्र पासवान, रामजी राम सहित कई अन्य लोगों ने बताया कि पानी बढ़ने की गति भले ही अपेक्षाकृत कुछ कम हुई है। लेकिन, गंगा के तट पर बसे श्रीकांत राय के डेरा, बेनीलाल के डेरा, टेकमन के डेरा, लाल सिंह के डेरा, सुचित के डेरा, बिगु के डेरा, गर्जन पाठक के डेरा, तिलक राय के हाता, भिक्षु के डेरा आदि गांव की जनता अभी भी काफी सहमी हुई है। - प्रशासन ने किया एक दर्जन राहत कैंपों का चयन बाढ़ आने की स्थिति में आम जनता को सुरक्षा मुहैया कराने के उद्देश्य से स्थानीय प्रशासन द्वारा करीब एक दर्जन राहत कैंपों का चयन किया गया है। हालांकि, अभी तक सारे चयनित कैंप सुविधा विहीन है। लेकिन, स्थानीय प्रशासन स्थिति को भागते हुए बहुत जल्द नामित कैंपों में सारी व्यवस्था मुहैया कराने की बात कह रहा है। - 50 नावों के भरोसे क्षेत्र की सुरक्षा बाढ़ आने की स्थिति में आम जनता को सकुशल सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाने के लिए स्थानीय प्रशासन के पास मात्र 50 नावों की व्यवस्था है। उनमें से अधिकांश अनुपयोगी साबित हो चुकी है। ऐसी स्थिति में स्थानीय प्रशासन लोगों को सुरक्षित स्थानों तक कैसे पहुंचाएगा। इस बात की चर्चा आज हर जुबान पर है। वैसे विभागीय सूत्रों की मानें तो स्थानीय प्रशासन द्वारा प्राइवेट नावों के रजिस्ट्रेशन करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। ताकि समय आने पर उनकी सेवा ली जा सके। - तटबंध पर दिखाई नहीं दे रहे होमगार्ड के जवान स्थानीय प्रशासन द्वारा बक्सर-कोइलवर तटबंध की सुरक्षा को लेकर प्रत्येक एक किलोमीटर की दूरी पर होमगार्ड के जवानों की तैनाती का दावा किया जा रहा है। मगर वे बड़कागांव से केशोपुर तक कहीं दिखाई नहीं दे रहे हैं। ऐसी स्थिति में तटबंध की सुरक्षा भगवान भरोसे है। ग्रामीणों का कहना है कि बाढ़ के दौरान अक्सर पड़ोसी जिले के लोग तटबंध क्षतिग्रस्त करने का प्रयास करते हैं। लिहाजा, प्रशासन की थोड़ी सी असावधानी इलाकाई लोगों के लिए काफी नुकसानदेह साबित हो सकती है। - बीडीओ ने लिया स्थिति का जायजा प्रखंड विकास पदाधिकारी अजय कुमार सिंह ने दियारा क्षेत्र का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान जहां कहीं तनिक भी उन्हें समस्या नजर आई, तत्काल उसे दुरुस्त करने के लिए विभागीय लोगों को निर्देशित किया। इस आशय की जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि पानी घट रहा है। बावजूद, इसके दियारावासियों को घबराने की कोई आवश्यकता नहीं है। स्थानीय प्रशासन हर स्थिति से निपटने के लिए मुकम्मल व्यवस्था कर चुका है।