अब भागलपुर में सैंडिस कंपाउंड के पास नहीं होगा जलजमाव, यह है योजना
भागलपुर में सैंडिस कंपाउंड के पास जलजमाव की समस्या से निजात मिलेगा। इसके लिए वाटर हार्वेस्टिंग तकनीक अपनायी जाएगी। बारिश के दौरान सैंडिस कंपाउंड के पास काफी जलजमाव की स्थिति उत्पन्न हो जाती है। लोगों को काफी परेशानी होती है।
जागरण संवाददाता, भागलपुर। सैंंडिस कंपाउंड के सामने हल्की बारिश में जलजमाव की समस्या दूर करने की कवायद शुरू हो गई। अब यहां से बारिश का पानी नालों में बेकार नहीं प्रवाहित होगा। सैंंडिस कंपाउंड मैदान से सड़क पर प्रवाहित होने वाले वर्षा जल को संचय किया जाएगा। इसके लिए सर्किट हाउस से सैडिंस कंपाउंड के प्रवेश द्वार तक वाटर हार्वेस्टिंग पिट का निर्माण होगा। स्मार्ट सिटी के अभियंता ने गुरुवार को स्थल निरीक्षण कर तत्काल पांच जगहों को चिन्हित कर दिया है। मुख्य द्वारा वाटर हार्वेस्टिंग के लिए गड्ढा खोद दिया है। सिंघल इटरप्राइजेज के प्राेजेक्ट मैनेजर विभाकर कुमार ने बताया कि 11 फीट चौड़ा, नौ फीट लंबा और सात फीट गहरा वाटर हार्वेस्टिंग पिट का निर्माण कराया जा रहा है। एक पिट में करीब आठ हजार लीटर जल संचय की क्षमता होगी।
इस संबंध में नगर आयुक्त प्रफुल्ल चंद यादव ने बताया कि सड़क किनारे जलजमाव के पानी का वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम केे माध्यम से संचय होगा। जरुरत के अनुरूप पांच से अधिक पिट निर्माण किया जाएगा। वहीं सैंंडिस कंपाउंड मैदान का पानी जयप्रकाश उद्यान के तालाब में जमा कर जल संचय होगा। इसके लिए ड्रेनेज का कार्य दो किलोमीटर पूरा हुआ है। जहां नाला निर्माण नहीं हुआ है वहां कच्ची नाला खोदकर तालाब से जोड़ा गया है। वहीं सैंडिस कंपाउंड के चारदीवारी से सटे बुडको नाला निर्माण करेगा। इसका निकास कचहरी चाैक के समीप नाले से होगा।
वारसलीगंज में जलजमाव से लोगों की बढ़ी परेशानी
शहर के दक्षिणी क्षेत्र का वारसलीगंज मोहल्ला जलनिकासी कर समस्या से जूझ रहा है। वार्ड 49 और 51 के बीच वारसलीगंज काली मंदिर मार्ग में पिछले चार दिनों से जलजमाव है। इस मार्ग में नाला निर्माण नहीं कराने से कई घरों में पानी जमा हो गया है। स्थानीय अमित साह और रोहित साह ने बताया कि लोगों को जलजमाव के बीच आवागमन करना पड़ रहा है। बारिश के दौरान पंप सेट के माध्यम से पानी निकालना पड़ा है। समस्या को लेकर निगम से कई बार शिकायत दर्ज कराया, लेकिन निदान नहीं हुआ।
मिट्टी युक्त पानी के उपयोग का विरोध
हनुमान घाट मार्ग में नाला निर्माण कार्य में गुणवत्ता को दरकिनार कर किया जा रहा है। स्थानीय हृदय मिश्रा ने इसकी शिकायत नगर निगम और जिला प्रशासन से की है। उन्होंने कहा कि सीमेंट व बाल के मिश्रण में जलजमाव वाले मिट्टी युक्त पानी का उपयोग हो रहा है। मिट्टी के उपयोग से सीमेंट की क्षमता कम हो जाएगाी। घटिया कार्य के जांच की मांग की गई।