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मैट्रिक और इंटर में फेल हुए छात्र-छात्राओं के लिए मिलेगा सुनहरा अवसर, जानिए

अब मैट्रिक और इंटर के अनुत्‍तीर्ण छात्रों को सुनहरा अवसर मिलेगा। बिहार सरकार का स्वायत्त संस्थान है बीबॉस गिद्धौर हाई स्कूल को मिली है मान्यता। समय और साल बचाने के लिए बीबॉस है सही विकल्प। इससे बड़ी राहत मिलेगी।

By Dilip Kumar ShuklaEdited By: Published: Tue, 30 Mar 2021 01:53 PM (IST)Updated: Wed, 31 Mar 2021 07:52 AM (IST)
मैट्रिक और इंटर में फेल हुए छात्र-छात्राओं के लिए मिलेगा सुनहरा अवसर, जानिए
गिद्धौर स्थित महाराज चन्द्रचूड़ विद्यामन्दिर में यह शुरू किया गया।

जागरण संवाददाता, जमुई। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने इंटरमीडिएट का रिजल्ट 25 मार्च को ही जारी कर दिया है। हर वर्ष बिहार में तकरीबन 2 लाख बच्चों की बढ़ोतरी बोर्ड लेवल पर होती है, ऐसे में फेल हो जाने पर या किसी अन्य कारणों से स्कूल छोड़ देने वाले बच्चों के लिए सरकार ने 'बीबॉस' की व्यवस्था की है।

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बिहार बोर्ड के अलावे सीबीएसई, आईसीएसई एवं अन्य बोर्ड के रिजल्ट में भी ऐसे कई छात्र हैं जो फेल कर गए हैं, उन्हें निराश होने की जरूरत नहीं, क्यूंकि उनके उज्ज्वल भविष्य की राह दिखाने के लिए बिहार बोर्ड ऑफ ओपन स्कूलिंग एंड एग्जामिनेशन (बीबॉस) के दरवाजे खुले हैं। जमुई जिले के गिद्धौर स्थित महाराजा चन्द्रचूड़ विद्यामंदिर, बीबॉस से पंजीकृत है, जहां नामांकन की प्रक्रिया चालू है।

क्या है बीबॉस

'बीबॉस' बिहार सरकार के शिक्षा विभाग का एक ऑटोनॉमस ऑर्गनाइजेशन है। इसे राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय स्तर के विभिन्न प्रकारों के द्वारा आईसीएसई एवं सीबीएसई बोर्ड के समतुल्य मान्यता प्रदान की गई है। इसके द्वारा मान्यता प्राप्त तकनीकी संस्थानों सहित सभी विश्वविद्यालयों में उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए वैध है।

कम अंक लाने या फेल विद्यार्थी परीक्षा में हो सकते हैं शामिल

वैसे छात्र जो किसी भी मान्यता प्राप्त बोर्ड (आईसीएसई/सीबीएसई/स्टेट बोर्ड) की परीक्षा में फेल हो गए हों या रिजल्ट असंतुष्टीजनक हो और कम से कम एक विषय में उत्तीर्ण हो वैसे छात्र-छात्राओं का नामांकन फॉर्म अप्रैल माह तक भरा जाएगा, जिसकी परीक्षा जून माह में होती है। फाॅर्म भरते समय मैट्रिक/इन्टर का अंकपत्र के साथ दो फोटो आवेदन फार्म के साथ संलग्न करना अनिवार्य है। इसमें उसी विषय का परीक्षा देना होता है, जिसमें परीक्षार्थी फेल है या कम अंक प्राप्त किए हों। इस बोर्ड में सालों भर नामांकन का प्रावधान है। परंतु परीक्षा वर्ष में दो बार (जून/दिसंबर) माह में आयोजित की जाती है, तथा रिजल्ट अगस्त और फरवरी माह में प्रकाशित की जाती है।

सभी +2 विद्यालय को मिली है बीबॉस से मान्यता

गिद्धौर स्थित महाराज चन्द्रचूड़ विद्यामन्दिर के अलावा जमुई जिले के सभी प्लस टू विद्यालय बीबॉस से पंजीकृत हैं। जहां न सिर्फ छात्र-छात्रा अपने नजदीकी अध्यनन केंद्र में नामांकन ले सकते हैं, बल्कि समय अंतराल में पाठ्यक्रम से संबंधित आवश्यक सलाह व दिशा-निर्देश भी प्राप्त कर सकते हैं। वर्तमान सत्र में मैट्रिक-इंटर की परीक्षा देने को इच्छुक छात्र-छात्राएं 30 अगस्त तक अपना नामांकन कराकर जून 2022 में परीक्षा दे सकेंगे।

जिनकी पढ़ाई छूटी हुई है तो वो भी कर सकते हैं मैट्रिक और इंटर

गिद्धौर महाराजा चन्द्रचूड़ विद्यामंदिर के प्रधान सह समन्वयक मु. मंज़ूर आलम एवं उप-समन्वयक कृष्णकान्त झा ने  बताया कि जिन छात्र-छात्राओं की वर्षों से पढ़ाई छूटी हुई है तो  बीबॉस से इच्छुक शिक्षार्थी मैट्रिक-इंटर कर सकते हैं। इसके लिए बोर्ड द्वारा निर्धारित शुल्क भुगतान कर संबंधित संकायों में विद्यार्थियों को नामांकन लेने की स्वतंत्रता है।


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