Acid attack : वाराणसी में हो रहा छात्रा का इलाज, मुख्यालय ने मांगी डे टू डे रिपोर्ट
वाराणसी के समयन अस्पताल में छात्रा की हालत अभी भी चिंताजनक बनी हुई है। डॉक्टरों की निगरानी में छात्रा को जूस और दवाई दी गई। डॉक्टर लगातार उसका चेकअप कर रहे हैं।
भागलपुर [जेएनएन]। एसिड हमले के आरोपितों की धरपकड़ के लिए पुलिस ने छापेमारी तेज कर दी है। पुलिस ने अलग-अलग इलाकों से आधा दर्जन संदिग्ध युवकों को हिरासत में लिया। गुप्त स्थान पर उनसे पूछताछ की जा रही है। इधर, हिरासत में लिए गए कुछ युवकों के परिजन बबरगंज पुलिस चौकी पहुंचे और उनके बच्चों को उठाने का कारण जानना चाहा। पुलिस ने इस मामले में पीड़िता से अंतिम बार बात करने वाले अभिषेक नाम के युवक से भी पूछताछ की। इसके अलावा सनोज यादव, राजा यादव, राजू यादव से भी पूछताछ की जा रही है। पुलिस को इस मामले में मोनू नाम के युवक की तलाश है। उधर बनारस के डीएम रविवार को एसिड पीड़ित छात्र से मिलने अस्पताल पहुंचे। घटना की जानकारी ली और हरसंभव मदद का भरोसा दिलाया।
इधर, छात्र को एसिड से नहलाने वाले अपराधियों ने सीसीटीवी में कैद होने के डर से छात्र के घर प्रवेश के लिए पिछले रास्ते का इस्तेमाल किया था। उस रास्ते से आम लोग शाम में आने-जाने से परहेज करते हैं। पुलिस ने मुख्य सड़कों पर लगे कई सीसीटीवी कैमरे का भी खंगाला। लेकिन सफलता हाथ नहीं लगी। इधर, मामले की गंभीरता को देखते हुए आइजी विनोद कुमार और डीआइजी विकास वैभव पीड़िता के घर पहुंचे और परिजन से पूछताछ की।
छात्रा की हालत चिंताजनक, निगरानी में दिया जा रहा जूस
वाराणसी के समयन अस्पताल में छात्रा की हालत अभी भी चिंताजनक बनी हुई है। रविवार को डॉक्टरों की निगरानी में छात्रा को जूस और दवाई दी गई। डॉक्टर लगातार उसका चेकअप कर रहे हैं। शनिवार को वह दर्द से काफी परेशान थी। दर्द का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि वह बार बार चिल्ला उठती थी। छात्रा की मदद के लिए छात्रा के पिता के कुछ परिचित वाराणसी पहुंचे हैं। इसमें अंकित कुमार भी शामिल हैं। उन्होंने बताया कि छात्रा के परिजन ने बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय, भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन, भागलपुर डीआइजी विकास वैभव समेत कई लोगों ने बातचीत कर ढाढ़स बंधाया। इसके अलावा स्थानीय स्तर पर भी मदद को भरोसा दिलाया।
एसिड हमले की जांच में घटनास्थल पर पहुंचे आइजी, डीआइजी
अलीगंज में छात्रा पर हुए एसिड हमले की जांच के लिए रविवार को आइजी विनोद कुमार और डीआइजी विकास वैभव घटनास्थल पर पहुंचे। उन्होंने छात्रा के भाई से छात्रा और घर के बारे में कई जानकारियां ली। दोनों अधिकारी छात्रा के भाई के साथ उस जगह पर भी गए, जहां युवकों की अड्डेबाजी होती है। इसके अलावा आरोपित प्रिंस के घर को भी देखा। प्रिंस के घर के मुख्य द्वार पर ताला लगा हुआ था। इस कारण उसके परिजनों से अधिकारियों की बात नहीं हो सकी। वहीं इस मामले में कई संदिग्धों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है।
प्रिंस के दोस्तों और अड्डेबाजी करने वालों की तलाश कर रही है पुलिस
इस मामले को लेकर डीआइजी ने एसएसपी आशीष भारती कोई कई बिंदुओं पर जांच का निर्देश दिया है। पुलिस को संदिग्धों की पूरी कुंडली खंगालने को कहा गया है। साथ ही प्रिंस दोस्तों और मैदान में अड्डेबाजी करने वाले लोगों के बारे में पता लगाने का निर्देश दिया गया है। पुलिस ने अपने गुप्तचरों को भी इलाके में सक्रिय कर दिया है। जो लगातार पुलिस को घटना को लेकर सूचनाएं दे रहे हैं। वहीं शक के आधार पर पुलिस उनको हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है। लेकिन अब तक कोई ठोस सुराग पुलिस के हाथ नहीं लगा है। जिससे असल आरोपितों की गिरफ्तारी हो सके।
जांच में जुटे अधिकारी
छात्रा को एसिड से नहलाने मामले में मुख्यालय ने भी डे टू डे रिपोर्ट भागलपुर पुलिस से मांगी है। इस कारण सभी अधिकारी छात्रा पर एसिड से हमला करने वालों मुख्य अपराधियों के बारे में पता लगाने में जुटे हुए हैं। बता दें कि छात्रा को एसिड से नहलाने वाले तीन हथियारबंद नकाबपोश अपराधियों के बारे में अब तक पुलिस को कोई सुराग नहीं मिला है। इस कारण पुलिस के लिए बीतते दिन के साथ यह मामला उलझता जा रहा है।
डीएनए टेस्ट के जरिये आरोपितों की गर्दन दबोचेगी पुलिस
छात्रा को एसिड से नहलाने वाले अपराधियों का पता लगाने के लिए पुलिस डीएनए टेस्ट का सहारा लेगी। डीआइजी विकास वैभव ने इसके लिए एसआइटी को निर्देशित किया है। उन्होंने एसएसपी आशीष भारती को घर में छूटे हुए अपराधियों के प्लास्टिक थैले, रूमाल और चप्पल का डीएनए जांच कराने को कहा है। साथ ही आरोपित प्रिंस का ब्लड सैंपल लेकर उसके डीएनए से मिलान करने को कहा गया है। वहीं डीआइजी ने अलीगंज में परिवार की सुरक्षा के लिए आम्र्स गार्ड देने का निर्देश दिया है। जो 24 घंटे परिवार की सुरक्षा में तैनात रहेंगे।
दोस्तों के भी डीएनए से किया जाएगा मिलान
प्रिंस के जिन दोस्तों और संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है। उन लोगों से भी डीएनए का मिलान अपराधियों के छूटे हुए सामानों के डीएनए से किया जाएगा। इससे अपराधियों को पकडऩे में काफी आसानी होगी। वहीं जो भी अपराधी डीएनए टेस्ट के बाद सामने आएंगे। उन्हें तब सजा दिलाने में भी पुलिस को मदद मिलेगी। डीआइजी ने कहा कि प्रक्रिया को जल्द से जल्द पूरी करने का निर्देश दिया गया है। एसआइटी इस मामले में कई बिंदुओं पर जांच कर रही है। जिसमें सफलता भी हाथ लगी है।
कई संदिग्ध घर छोड़कर भागे
अपराधियों की धरपकड़ के लिए पुलिस ने छापेमारी तेज कर दी है। पुलिस ने कुछ संदिग्धों की निगरानी कर रही है। जो घर छोड़कर फरार हैं। पुलिस को शक है कि उन लोगों को गिरफ्तारी की भनक मिल गई। इस कारण घटना को अंजाम देने के दूसरे दिन वे लोग शहर से निकल गए हैं। लेकिन पुलिस उन्हें पकडऩे के लिए तकनीकी, वैज्ञानिक और अपने गुप्तचरों की मदद ले रही है। पुलिस इस मामले में काफी बारीकी से अनुसंधान में लगी हुई। ताकि किसी बिंदु पर जांच छूट नहीं जाए। इस लेकर पुलिस आसपास के इलाकों के लोगों से भी लगातार संपर्क कर रही है। जो भी इनपुट मिल रहा, जांच को आगे बढ़ाया जा रहा है।
एसिड हमले का सोनार कनेक्शन ढूंढ रही पुलिस
छात्रा पर एसिड से हमले का सोनार कनेक्शन है। जिस एसिड से छात्रा पर हमला हुआ था। उसका प्रयोग अमूमन सोना के कारीगर ही करते हैं। बड़ा सवाल है कि अपराधियों ने एसिड कहां से खरीदी। पुलिस इसकी भी जानकारी जुटाने में लगी हुई है। पुलिस ने एसिड फेंकने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाला डब्बा काफी ढूंढा लेकिन मिला नहीं। पुलिस इस मामले में एसिड बेचने वालों को भी चिन्हित कर रही है। उनकी सूची तैयार कर उससे पूछताछ करेगी। पुलिस को आशांका है कि इस हमले में अपराधियों में कुछ सोना के कारीगर भी हो सकते हैं।
कई इलाकों में खुलेआम बिकता है एसिड
शहर में कई जगहों पर जानलेवा एसिड की खुलेआम बिक्री होती है। लेकिन कभी भी इसकी जांच पड़ताल नहीं होती है। इस कारण अपराधियों को ये आसानी से मिल गया। एसिड हमले को लेकर पुलिस ने अपनी कार्रवाई इसलिए तेज कर दी है कि कहीं ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति ना हो सके। छात्रा को एसिड से नहलाने के लिए शीशे की बोतल का इस्तेमाल किया था।