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कोरोना हुआ राख! मिले 269 संक्रमित मरीज लेकिन खगड़िया सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में कोई नहीं हुआ भर्ती

बिहार के खगड़िया सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में कोरोना वायरस संक्रमित एक भी मरीज को भर्ती नहीं किया गया है। यहां ये वार्ड खाली पड़ा है। जबकि तीसरी लहर में 269 संक्रमित मरीजों की पुष्टि की जा चुकी है।

By Shivam BajpaiEdited By: Published: Tue, 18 Jan 2022 11:32 AM (IST)Updated: Tue, 18 Jan 2022 11:32 AM (IST)
कोरोना हुआ राख! मिले 269 संक्रमित मरीज लेकिन खगड़िया सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में कोई नहीं हुआ भर्ती
खगड़िया सदर अस्पताल के आइसोलेशन में नहीं भर्ती हुए मरीज।

जागरण संवाददाता, खगड़िया: तीसरी लहर के दस्तक के साथ जिले में लगातार कोरोना संक्रमित मिल रहे हैं। अब तक 269 लोग जिले में संक्रमित हुए हैं। लेकिन अस्पताल अथवा डीसीएचसी मतलब डेडिकेटेड कोविड हेल्थ सेंटर में मात्र एक मरीज भर्ती हुए हैं। इसका कारण कोरोना वायरस का प्रभाव कम होना माना जा रहा है। पाजिटिव को अस्पताल में भर्ती होने की आवश्यकता नहीं हो रही है। मरीज चार से पांच दिन में ठीक हो रहे हैं। सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में बीते चार जनवरी को ही एक मरीज को भर्ती किया गया था। जिन्हें मात्र तीन दिन बाद ही अस्पताल से मुक्त भी कर दिया गया। उसके बाद से अब तक कोई मरीज भर्ती नहीं हुए हैं।

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डेडिकेटेड कोविड हेल्थ सेंटर खाली पड़ा है। इस संबंध में सिविल सर्जन डा. अमरनाथ झा ने कहा कि डेडिकेटेड कोविड हेल्थ सेंटर में कोई मरीज नहीं पहुंच रहे हैं। और न ही कोरोना संक्रमित कोई गंभीर मरीज अस्पताल पहुंचे हैं। इसका सीधा अर्थ यह भी है कि कोरोना वायरस से लोग संक्रमित अवश्य हो रहे हैं। पर यह संक्रमण इस बार घातक असर नहीं कर रहा है। लोग होम आइसोलेशन में ही चार से पांच दिन में ठीक हो जा रहे हैं। इस बार देखा जा रहा है कि संक्रमण के प्रभाव से लोग सर्दी खांसी व बुखार से पीडि़त तो हो रहे हैं, परंतु तीन चार दिन बाद बुखार नहीं रहता है और पहले जो सांस लेने में तकलीफ होती थी वह समस्या लोगों में नहीं है। सांस में तकलीफ के कारण ही मरीज अस्पताल में भर्ती होते थे। ताकि आक्सीजन की सुविधा मिल सके।

इस बार कोरोना संक्रमित को अधिक परेशानी नहीं हो रही है। लोग तेजी से ठीक भी हो रहे हैं। इसके दो प्रमुख कारण हैं। पहला कारण यह है कि कोरोना वायरस के म्युटेशन होने के कारण इसका प्रभाव कम हुआ है। जो लोगों को संक्रमित तो कर रहा है, पर गहरा असर नहीं डाल पा रहा है। लोग परहेज व दवा के साथ तुरंत ठीक भी हो जा रहे हैं। एक कारण यह भी है कि जिले में 15 वर्ष व इससे ऊपर के लगभग लोग टीका लगवा चुके हैं। कम से कम एक डोज लगभग लोग ले लिए हैं। टीका के प्रभाव से भी वायरस लोगों पर घातक असर नहीं डाल पा रहा है। लोग सर्दी खांसी व हल्के बुखार से पीडि़त होते हैं और दवा के साथ ठीक हो जा रहे हैं। उन्हें अस्पताल में भर्ती होने की जरूरत नहीं हो रही है।

कोरोना मरीज के लिए पूरी है तैयारी

सिविल सर्जन ने बताया कि संक्रमित मरीजों के लिए अस्पताल में आवश्यक सभी व्यवस्था व सुविधा उपलब्ध है। डेडिकेटेड कोविड हेल्थ सेंटर में भी पूरी तैयारी है। अस्पताल में कल 452 बेड की व्यवस्था की गई है। 152 बैड रेडी स्थिति में है। आक्सीजन प्लांट के साथ सिलेंडर भी पर्याप्त मात्रा में है। आरटीपीसीआर जांच की भी व्यवस्था है। लोगों को वेंटिलेटर की सुविधा मिल सके, इसे लेकर सरकारी निर्देशानुसार तकनीशियन और संबंधित चिकित्सकों को वेंटिलेटर संचालन का वर्चुअल प्रशिक्षण दिया जा रहा है। होम आइसोलेशन में रहने वाले लोगों पर भी नजर रखी जा रही है। फोन पर उनके स्वास्थ्य की जानकारी लगातार ली जाती है। होम आइसोलेशन वाले लोगों को दवा भी उपलब्ध कराई जा रही है। इसके साथ जांच व टीकाकरण कार्य भी अनवरत जारी है।


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