Munger coronavirus news updates: बड़ी लापरवाही को झांपने में लगा स्वास्थ्य विभाग
Munger coronavirus news updates बिहार में कोरोना वायरस का संक्रमण लगातार फिर बढ़ने लगा है। मुंगेर जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग लगातार कोरोना वायरस रोकने के लिए प्रयासरत है। भाजपा प्रदेश कार्यसमिति सदस्य संजीव मंडल ने स्वास्थ्य विभाग पर कई आरोप लगाए हैं।
संवाद सहयोगी, मुंगेर। कोरोना का प्रभाव कम करने के लिए जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग दिन-रात एक किए हुए है। लगातार बढ़ रहे केस से बेचैनी बढ़ गई है, सबकुछ होने के बाद भी लापरवाह स्वास्थ्य प्रबंधक पर कार्रवाई करने से आखिकार क्यों पीछे हट रही है। यह समझ से परे है। कोरोना गाइड लाइन से हटकर अपने पद का रौब दिखाते हुए स्वास्थ्य प्रबंधक ने जो सीमाएं लांघी है, उस दिशा में अब तक जिला स्वास्थ्य विभाग से लेकर ऊपर तक के सभी मौन हैं। इससे साफ है कि जिला स्वास्थ्य विभाग इस बड़ी लापरवाही को झांपने में लग गया है। प्रबंधक की कार्यशैली पर अंकुश नहीं लगा तो आगे फिर बड़ी लापरवाही हो सकती है। स्वास्थ्य विभाग को इस प्रकरण पर गंभीरता से सोंचने की जरूरत है। कई लोग कोरोना की चपेट में आ सकते हैं। दरअसल, स्वास्थ्य प्रबंधक अपना रौब दिखाकर दो दिनों तक संक्रमित डेटा आपरेटर से काम लेता रहा। दो दिनों में छह सौ मरीजों का पर्चा संक्रमित आपरेटर ने काटी थी। मामला तूल पकडऩे के बाद भी इस दिशा में कोई कार्रवाई अबतक नहीं की गई है।
लापरवाही नहीं की जाएगी बर्दाश्त
भाजपा प्रदेश कार्यसमिति सदस्य संजीव मंडल ने कहा है कि स्वास्थ्य विभाग कोरोना के नाम पर खानापूरी कर रही है। मरीजों को सही से जांच नहीं हो रहा है। अस्पताल की व्यवस्था बदहाल है। जिले में कोरोना का कहर बरप रहा है, ऐसे में सदर अस्पताल के प्रबंधक तौसिफ हसैनन जान बूझकर संक्रमित डेटा आपरेटर से निबंधन काउंटर पर काम लेता रहा। सदर अस्पताल के प्रबंधक तौसिफ हसनैन पर विभागीय कारवाई करते हुए निलंबन की मांग डीएम और सिविल सर्जन से की। उन्होंने कहा प्रबंधक ने लोगों को दहशत में डाल दिया है। अस्पताल प्रबंधक की लापरवाही आम लोगों की सेहत पर पडऩे की उम्मीद है। प्रबंधक की ओर से बरती गई लारवाही समझ से परे हैं। आखिकार किसी वजह से 10 वर्षों से एक ही जगह पर जमे हैं। सदर अस्पताल में दलाल सक्रिय हैं। जिम्मेदार पद पर बैठे अस्पताल प्रबंधक ने आखिरकार किसके आदेश पर दो दिनो तक संक्रमित डेटा आपरेटर से काम लेते रहे। लिखित शिकायत स्वास्थ्य विभाग और मंत्री से की जाएगी।