BNMU: स्नातक प्रथम और द्वितीय खंड के दो हजार छात्रों का परिणाम पेंडिंग, लगा रहे विवि का चक्कर
बीएनएमयू के स्नातक प्रथम खंड सत्र 2016-19 एवं द्धितीय खंड सत्र 2017-20 के करीब दो हजार छात्रों का रिजल्ट पेंडिंग है। पेेंडिंग रिजल्ट को ठीक कराने के लिए छात्र कभी विश्वविद्यालय तो कभी कालेज की दौड़ लगा रहे हैं।
कटिहार, जेएनएन। बीएनएमयू की उदासीन रवैए से तकरीबन दो हजार छात्रों का भविष्य अधर में है। स्नातक प्रथम खंड सत्र 2016-19 एवं द्धितीय खंड सत्र 2017-20 के छात्रों का रिजल्ट पैङ्क्षडग व अनुतीर्ण होने के कारण छात्र कभी विश्वविद्यालय तो कभी कालेज की दौड़ लगा रहे हैं। साथ ही विशेष परीक्षा आयोजित करने की मांग को लेकर छात्र लगातार प्राचार्य व बीएनएमयू प्रशासन को आवेदन भी सौंप रहे हैं। इसके बावजूद इसका कोई हल नहीं निकल पा रहा है।
किस कालेज के कितने छात्रों का परिणाम है पैङ्क्षडग:
डीएस कॉलेज में प्रथम खंड के 428, द्धितीय खंड के 65।, केबी झा कॉलेज के प्रथम खंड के 400, द्धितीय खंड के 500छात्र-छात्राओं के परिणाम में पेंच फंसा हुआ है। महिला कॉलेज में प्रथम खंड की 200 व द्धितीय खंड की 100 छात्राओं का रिजल्ट फंसा हुआ है। इसी तरह सीताराम चमरिया कॉलेज में प्रथम खंड के 300 व द्धितीय खंड के 150 छात्र-छात्राओं का परीक्षा परिणाम पेंडिंग है।
क्या कहते हैं छात्र संगठन के नेता
अभाविप के विक्रात सिंह ने कहा कि स्नातक प्रथम व द्धितीय खंड सत्र 2016-19 व 2017-20 के काफी संख्या में छात्र छात्राओं का रिजल्ट पेंडिग होने से स्नातक तृतीय खंड में नामांकन नहीं हो पा रहा हैं। इससे छात्रों की परेशानी चरम पर है।
एनएसयूआई के कॉलेज अध्यक्ष इमरान रजा ने बताया कि लगातार विरोध प्रदर्शन कर पेंडिंग छात्रों की विशेष परीक्षा कराने की मांग बीएनएमयू से की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि बीएनएमयू प्रशासन इन छात्रों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है।
छात्र विनय ङ्क्षसह ने कहा कि जबसे पूर्णिया विश्वविद्यालय व मधेपुरा विश्वविद्यालय अलग हुआ हैं तब से बीएनएमयू विश्वविद्यालय छात्रों को कॉलेज व मधेपुरा का चक्कर लगाना पड़ रहा है। लगातार अनुरोध के बावजूद विशेष परीक्षा आयोजित नहीं हो रही है। सौरभ झा ने कॉलेज प्रशासन व बीएनएमयू प्रशासन के बीच छात्रों का भविष्य फंसा हुआ है। आकाश कुमार, रोहन प्रसाद, कमल ठाकुर, शिवानी कुमारी, सुप्रिया कुमारी ने कहा कि विश्वविद्यालय को तत्काल विशेष परीक्षा का आयोजन करना चाहिए।