पूर्वोत्तर रेलवे का बड़ा फैसला... दो हजार से अधिक पुल और आरओबी की होगी थर्ड पार्टी तकनीकी ऑडिट, जानिए यात्रियों को क्या होगा लाभ
पूर्वोत्तर रेलवे ने बड़ा फैसला लिया है। इसके अंदर आने वाले करीब दो हजार से अधिक पुल-पुलिए और आरओबी की ऑडिट कराई जाएगी। इसके लिए आइआइटीएन की टीम से मदद लिया जाएगा। ऐसा काम-काज में पारदर्शिता लाने के लिए किया जा रहा है।
कटिहार [नीरज कुमार]। रेलवे अपने क्षेत्राधीन आने वाले रेल पुल, आरओबी एवं एफओबी की देखरेख तथा रखरखाव में पारदर्शिता लाने के लिए थर्ड पार्टी तकनीकी ऑडिट कराने का निर्णय लिया है। पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के अधीन आने वाले दो हजार से अधिक छोटे-बड़े रेल पुलों का तकनीकी ऑडिट कराए जाने को प्रस्तावित किया गया है। तकनीकी ऑडिट में आइआइटी, एनआइटी, एसइआरटी के विशेषज्ञों के मदद ली जाएगी। राष्ट्रीय एवं अतरराष्ट्रीय स्तर की कुशल एजेंसी को भी इसमें शामिल किए जाने की योजना है।
तकनीकी ऑडिट के क्रम में पुल, आरओबी एवं फ्लाई ओवर ब्रिज की मजबूती का आकलन, वर्तमान समय के लिए लोङ्क्षडग के लिए डिजाइन की उपयुक्तता, भौतिक दशा की जांच कर रेलवे को रिपोर्ट की जाएगी। अनुशंसा के आधार पर जर्जर हालत में पाए जाने वाले पुल, रेल ओवर ब्रिज एवं फ्लाईओवर ब्रिज को तोडऩे या मरम्मत किए जाने का निर्णय लिया जाएगा। रेलवे के मनोनीत अधिकारियों द्वारा वर्ष में एक बार पुल व आरओबी की दशा जानने को लेकर वार्षिक निरीक्षण किया जाता है। वार्षिक निरीक्षण एवं रखरखाव के लिए कुशल एजेंसी की राय भी ली जाएगी। चिन्हित तथा जटिल पुल व आरओबी का थर्ड पार्टी ऑडिट कराया जाएगा।
थर्ड पार्टी ऑडिट का उद्देश्य
रेल क्षेत्र की अधिकांश छोटे पुल ब्रिटिशकालीन है। यात्री एवं मालवाहक ट्रेनों का ट्रैफिक बढऩे के कारण इसका असर पुलों की मजबूती पर भी हुआ है। पांच दशक से अधिक पुराने पुल व आरओबी की डिजाइन वर्तमान लोडिंग क्षमता के अनरूप भी नहीं है। कटिहार रेल मंडल सहित पूसी रेल क्षेत्र में आजादी के पूर्व के कई रेल पुल हैं। क्षय वृति वाले मजबूती की ²ष्टि से बुरी तरह प्रभावित होने वाले पुल, आरओबी के जरुरी हिस्सों पर खास तौर से नजर रखी जाएगी। देश भर में अब तक चिन्हित 1107 पुल, आरओबी एवं एफओबी में से अब तक 815 का थर्ड पार्टी ऑडिट कराया जा चुका है।
ऑडिट के लिए तय की गई प्राथमिकता
थर्ड पार्टी ऑडिट के लिए सभी बड़े पुलों की ओआरएन व रेटिंग र पर ऑडिट कराई जाएगी। ओआरएन टू रेङ्क्षटग के साथ रेलवे पुल तथा गति प्रतिबंधकों के साथ जांच, 80 वर्ष से अधिक पुराने सभी महत्वपूर्ण पुल तथा रेलवे द्वारा गंभीर समझे जाने वाले अन्य कोई भी पुल की ऑडिट।
रेलवे द्वारा अपने पुलों, आरओबी एवं एफओबी के रखरखाव एवं मरम्मत की आवश्यकता को जानने के लिए थर्ड पार्टी तकनीकी ऑडिट कराई जा रही है। पूसी रेल क्षेत्र के अधीन आने वाले रेल पुलों एवं आरओबी की कुशल एजेंसी से ऑडिट कराने का प्रस्ताव है। ऑडिट के लिए प्राथमिकता सूची भी तय की गई है।
शुभानन चंदा, मुख्य जनसंपर्क पदाधिकारी, पूसी रेल, गुवाहाटी।
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