समाहरणालय कर्मियों ने मनाया विरोध दिवस
औरंगाबाद। लॉकडाउन समाप्ति के बाद जिले में धरना प्रदर्शन का दौर शुरू हो गया है। गुरुवार को समाहरणालय कर्मियों ने समाहरणालय में सरकार के खिलाफ विरोध दिवस मनाया।
औरंगाबाद। लॉकडाउन समाप्ति के बाद जिले में धरना, प्रदर्शन का दौर शुरू हो गया है। गुरुवार को समाहरणालय कर्मियों ने समाहरणालय में सरकार के खिलाफ विरोध दिवस मनाया। शारीरिक दूरी का पालन करते हुए कर्मचारियों ने केंद्र व राज्य सरकार के द्वारा कर्मचारियों के वेतन, भत्ता समेत अन्य मदों में राशि व लाभ की कटौती का विरोध किया। महासंघ के जिलाध्यक्ष कृष्ण कुमार सिन्हा एवं गोप गुट के जिला सचिव योगेंद्र कुमार ने कहा कि कोरोना के काल में सभी सरकारी कर्मचारी और शिक्षक अपनी जान की परवाह किए अपनी ड्यूटी की पर केंद्र सरकार ने एक जनवरी 2020 से बढ़े हुए एवं 2021 तक महंगाई भत्ता पर रोक लगाने का पत्र जारी किया है। राज्य सरकार ने वेतन कटौती और अर्जित अवकाश पर रोक लगाने का निर्णय लिया है। कर्मचारियों के वेतन और अन्य भत्ते को जब्त करने की कार्रवाई से पूरे राज्य ही नहीं देश के सरकारी कर्मचारियों में रोष है। कर्मचारी नेताओं ने कहा कि पूंजीपतियों के लाभ में श्रम कानूनों में संशोधन कर सरकार कर्मचारी विरोधी कार्य करने का काम की है। डीए वापस करने और वेतन व भत्तों में की गई कटौती को वापस करने की मांग उठाई। कामगार श्रम विरोधी कानून में संशोधन को रद्द करने और सरकारी संस्थानों को निजीकरण पर रोक लगाने की मांग की। कहा कि अगर सरकार कर्मचारियों की मांग पर विचार नहीं करेगी तो चार जून को राष्ट्र विरोध दिवस सभी जिला एवं प्रखंड मुख्यालयों में मनाया जाएगा। कर्मचारी अपने हक और अधिकार के लिए आंदोलन करने का बाध्य होंगे।