ऑटो एक्सपो 2018 से पहुंची तापसी पन्नू ने सेफ्टी पर क्या कहा, पढ़िए
होंडा मोटरसाइकिल एंड स्कूटर्स के साथ वे पिछले तीन साल से ब्रांड अंबेसडर के तौर पर जुड़ी हुई हैं। तापसी टूव्हीलर ड्राइविंग में सुरक्षा को बेहद तवज्जो देती हैं।
नई दिल्ली (ऑटो डेस्क)। जुड़वां-2, बेबी, नाम शबाना और पिंक जैसी फिल्मों से थोड़े समय में ही बड़ा नाम कमा चुकी फिल्म अभिनेत्री तापसी पन्नू एक बेहतरीन बाइक राइडर भी हैं। होंडा मोटरसाइकिल एंड स्कूटर्स के साथ वे पिछले तीन साल से ब्रांड अंबेसडर के तौर पर जुड़ी हुई हैं। तापसी टूव्हीलर ड्राइविंग में सुरक्षा को बेहद तवज्जो देती हैं। यही वजह है कि वो अब होंडा के ‘हेलमेट ऑन लाइफ ऑन’ अभियान को आगे बढ़ा रही हैं। ऑटो एक्सपो के दौरान तापसी पन्नू ने दैनिक जागरण के राष्ट्रीय ब्यूरो प्रमुख नितिन प्रधान से बातचीत की।
होंडा से संबंध कॉमर्शियल और कितना इमोशनल है?
-देखिए, ये रिलेशनशिप पहले कॉमर्शियल इस तरह से थी कि मैंने एक्टिवा खरीदने के लिए पैसे दिये थे। फिर इमोशनल कुछ इस तरह हो गया कि मैं अपने कॉलेज टाइम में और मॉडलिंग के वक्त आने जाने में एक्टिवा इस्तेमाल करने लगी। अब जब मैं ब्रांड एंबेसडर बन गई हूं तो ये रिश्ता फिर कॉमर्शियल हो जाता है। लेकिन अब तीन साल हो चुके हैं इसलिए अब ये बांडिंग और ज्यादा मजबूत होती जा रही है जो अक्सर इसे इमोशनल बना देती है। होंडा के एक्टिवा का जिस तरह ट्रांसफॉर्मेशन हुआ है उसके साथ मैं खुद अपने कैरियर को भी जोड़कर देख सकती हूं। तो इसलिए मुङो लगता है कि अभी यह रिश्ता बराबर का है। जितना इमोशनल है उतना ही कॉमर्शियल भी है।
दिल्ली जैसे महानगरों में ट्रैफिक लगातार बढ़ रहा है। ऐसे में आप यहां टूव्हीलर ड्राइविंग को कितना सुरक्षित पाती हैं?
वह दिल्ली ही नहीं, किसी भी शहर में टूव्हीलर ड्राइविंग को उतना सुरक्षित नहीं माना जाता। लेकिन अब अधिकांश शहरों में सड़कें काफी अच्छी हो गई हैं। इसलिए इन शहरों में टूव्हीलर चलाने का रोमांच भी बढ़ जाता है। लेकिन मुङो यह समझ नहीं आता कि एक मिनट के थ्रिल के लिए आप अपनी जिंदगी कैसे दांव पर लगा सकते हैं। यह बात ऐसा करने वालों के घरवालों को हमेशा डराती है। इस बात को सभी युवाओं को समझना होगा। इसके लिए सुरक्षा उपाय भी हैं। मैं खुद भी एक वक्त में टूव्हीलर ड्राइव में थ्रिल महसूस करती थी। लेकिन एक हेलमेट लगा लेने से थ्रिल कम नहीं हो जाती। अब तो इतनी वैरायटी के हेलमेट बाजार में हैं कि आप अपनी पसंद से इन्हें चुन सकते हैं। लेकिन मैं इतना जरूर कहूंगी कि अपनी और अपने परिवार की जिंदगी को दांव पर लगाकर उस थ्रिल का मजा लेने के बारे में सोचना भी नहीं चाहिए।
अक्सर देखने में आता है कि महिलाएं हेलमेट पहनने से बचती हैं। आप भी महिला हैं, आप क्या कहेंगी?
मुङो जहां तक लगता है वे ऐसा इसलिए करती हैं क्योंकि उन्होंने दोपहिया वाहनों के एक्सीडेंट के बारे में जितना देखा सुना है उनमें अधिकांश पुरुषों के साथ ही होता है। एक्सीडेंट को लेकर उनका अपना अनुभव शायद उतना खराब नहीं होता जितना दोपहिया चलाने वाले पुरुषों का है। लेकिन मैं अपनी सभी महिला पाठकों से कहना चाहूंगी कि आप इस बात को समङों कि टूव्हीलर चलाते वक्त हेलमेट पहनना कितना जरूरी है। इसीलिए हम कहते हैं कि ‘हेलमेट ऑन लाइफ ऑन।’