Global Ncap क्रैश टेस्ट पास करना अब होगा ज्यादा मुश्किल, इस फीचर को जोड़कर मिलेगी रेटिंग!
ग्लोबल एनकैप की क्रैश टेस्ट रेटिंग की बदौलत लाखों भारतीय ग्राहकों को एक सही और सुरक्षित कार चुनने का मौका मिला। रिपोर्ट्स के मुताबिक अगले साल से कंपनी अपने इस टेस्ट प्रोग्राम में ईएससी (इलेक्ट्रॉनिक स्टेबिलिटी कंट्रोल) को बतौर स्टैंडर्ड फीचर जोड़ेगी।
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। अगर ग्लोबल एनकैप क्रैश टेस्ट को किसी बात का श्रेय जाता है तो वो यह है कि सालों से इस टेस्ट की रेटिंग की वजह से वाहन निर्माता कंपनियां एक मजबूत बिल्ड क्वालिटी की कारें बनाने के लिए मजबूर रहती हैं। क्रैश टेस्ट के परिणामों की बदौलत, देश में कई ग्राहकों ने सुरक्षित कारों को चुना है। हालांकि भारत में फिलहाल तीन ही ऐसी कारें हैं जो ग्लोबल एनकैप में 5 स्टार की रेटिंग को प्राप्त किया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, ग्लोबल एनकैप के क्रैश टेस्ट में अब अगले साल से ईएससी (इलेक्ट्रॉनिक स्टेबिलिटी कंट्रोल) फीचर के साथ-साथ इसके रेटिंग सिस्टम को भी शामिल किया जाएगा। इसका मतलब है कि कारों को ग्लोबल एनकैप में पूर्ण स्कोर के लिए इस फीचर से लैस होना होगा।
अगर आप नहीं जानते हैं कि ESC क्या होता है तो हम आपको बताते हैं। दरअसल, यह एक एक्टिव सेफ्टी फीचर है जो अलग-अलग पहियों के ब्रेक लगाकर इंजन के टॉर्क को कम करके वाहन की स्पीड को नियंत्रित करने के काम आता है। यह स्थिरता बनाए रखने के लिए ABS और ट्रैक्शन कंट्रोल सिस्टम के साथ मिलकर काम करता है और टायरों को फिसलने से रोकता है। ईएससी 2014 से यूरोपीय बाजारों में एक स्टैंडर्ड फीचर के तौर पर आता है, लेकिन भारत में अधिकांश कारों, विशेष रूप से बजट रेंज में, यह फीचर नहीं मिलता है। ग्लोबल एनकैप के अनुसार, ईएससी कंट्रोल प्रोसेस की लागत आमतौर पर ₹5,000 से कम होती है, लेकिन यह सीट बेल्ट जितनी ही जरूरी है जो जान बचा सकती है। इसलिए इसे 2022 से क्रैश टेस्ट पैरामीटर में जोड़ा जाएगा।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक ग्लोबल एनकैप अगले कुछ वर्षों में अपने क्रैश टेस्ट में सक्रिय सुरक्षा सुविधाओं को शामिल करने का भी इरादा रखता है। अभी तक, यूनिट के क्रैश टेस्ट में 64 किमी/घंटा की स्पीड से टक्कर शामिल है, जबकि साइड-इफ़ेक्ट टक्कर टेस्ट का चयन कार निर्माता पूर्ण स्कोर के लिए कर रहे हैं। इसका मतलब है कि क्रैश टेस्ट अनिवार्य रूप से फ्रंट एयरबैग और थ्री-पॉइंट सीटबेल्ट जैसी मानक सुरक्षा सुविधाओं के साथ वाहन के संरचनात्मक स्थायित्व का आकलन करता है।
हालांकि, ग्लोबल एनकैप, लैटिन एनकैप की तरह, क्रैश टेस्ट में सक्रिय सुरक्षा सुविधाओं का आकलन शामिल करना चाहता है। इन सुविधाओं में स्वचालित आपातकालीन ब्रेकिंग, लेन कीप असिस्ट, ब्लाइंड-स्पॉट डिटेक्शन, लेन प्रस्थान चेतावनी आदि जैसे उन्नत सुरक्षा प्रावधान शामिल हैं। आपको बता दें मौजूदा वक्त में भारत की तीन कारें ग्लोबल एनकैप में 5 स्टार की रेटिंग प्राप्त कर चुकी हैं जिनमें महिंद्रा एक्सयूवी 300, टाटा नेक्सॉन और टाटा अल्ट्रोज़ जैसी कारों का नाम शामिल है।