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बेटा लापता और बहू जीने नहीं देती

जागरण संवाददाता, अल्मोड़ा : बेटा एक साल से लापता है और पुलिस सुनती नहीं है। उधर, बहू खाना खर्च के लिए

By Edited By: Published: Fri, 20 May 2016 01:00 AM (IST)Updated: Fri, 20 May 2016 09:29 AM (IST)
बेटा लापता और बहू जीने नहीं देती

जागरण संवाददाता, अल्मोड़ा : बेटा एक साल से लापता है और पुलिस सुनती नहीं है। उधर, बहू खाना खर्च के लिए बूढ़े मजदूर ससुर को थाने के चक्कर लगवा रही है। अब पुलिस भी दबाव डाल रही है कि वह उसे खाना का खर्च दे, लेकिन पाई-पाई को मोहताज बूढ़े हरीश राम के पास खाने के भी पैसे नहीं है। मूलरूप से बसौली ताकुला में रहने वाले हरीश राम एक अर्से से यहां एनटीडी में रहते है। बड़ा बेटा मानसिक तौर पर बीमार है। करीब चार साल पहले उन्होंने छोटे बेटे बालम (30) की शादी गधौली कसार देवी निवासी से की थी। एक साल पहले बहू की महिला अस्पताल में बेटी हुई। उसी रोज अस्पताल से बालम गायब हो गया और तब से लौट कर नहीं आया। बेटी के जन्म के बाद बहू को उसकी मां अपने साथ ले गई। तब से वह मायके में है। इधर, बालम के न लौटने पर बहू ने खाना खर्च के लिए महिला थाने में तहरीर दे दी। बेटे के लापता होने के कुछ ही दिन बाद हरीश राम ने एनटीडी पुलिस चौकी में बेटे के लापता होने की सूचना दी, लेकिन मामले में पुलिस ने आज तक गुमशुदगी दर्ज नहीं की और बहू की शिकायत पर पुलिस ने हरीश राम को थाने बुलाना शुरू कर दिया है। हरीश का कहना है कि पुलिस ने उनके बेटे को तो नहीं खोजा लेकिन उन पर इस बात का दवाब डाल रही है कि वह बहू का खाना खर्चा दें। जबकि मजदूरी से वह इतना भी नहीं कमा पाते कि मानसिक बीमार बेटे का इलाज करा सके।

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