झारखंड में लैंड बिल पर विपक्ष के बंद का मिलाजुला असर
केंद्र सरकार के भूमि अधिग्रहण बिल के विरोध में कांग्रेस-झामुमो को छोड़कर राज्य के अन्य विपक्षी दलों ने सोमवार को झारखंड बंद का आह्वान किया है। कांग्रेस और झामुमो ने बंद का नैतिक समर्थन किया है।
रांची। केंद्र सरकार के भूमि अधिग्रहण बिल के विरोध में कांग्रेस-झामुमो को छोड़कर राज्य के अन्य विपक्षी दलों ने सोमवार को झारखंड बंद का आह्वान किया है। कांग्रेस और झामुमो ने बंद का नैतिक समर्थन किया है।
राज्य में विपक्ष के बंद का मिलाजुला असर देखा जा रहा है। बंद के दौरान राजधानी रांची में सड़कें सूनी देखी गईं, वहीं बंद समर्थकों ने ट्रेन को रोकने का प्रयास किया। राजधानी में स्कूल और कुछ बैंक भी बंद हैं।उधर, घनबाद स्टेशन पर बंद समर्थकों ने राजधानी एक्सप्रेस को रोक दिया। गोड्डा के कारगिल चौक पर प्रदर्शनकारियों ने धरना दिया। बोकारो में भी सड़क जाम किए जाने की खबर है।
प्रशासन ने बंद से निबटने के लिए व्यापक तैयारी की है। शहरों में निषेधाज्ञा लगा दी गई है। पुलिस पदाधिकारियों को उपद्रवियों से सख्ती से निबटने के निर्देश दिए गए हैं। पुलिस के अतिरिक्त बल तैनात किए गए हैं। गृह विभाग ने बंद से निबटने के लिए पूरे राज्य में सतर्कता बरतने का निर्देश दिया है।
बंद को सफल बनाने के लिए जिलावार नेताओं को जिम्मेवारी सौंपी गई है। झाविमो अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी, प्रधान महासचिव प्रदीप यादव, महासचिव सुनील साहू, सीपीआइ के केडी सिंह और समाजवादी पार्टी के मनोहर यादव रांची में बंद का नेतृत्व कर रहे हैं।
बंद कराने वाले दल झाविमो, राजद, जदयू, भाकपा, फाब्ला, समाजवादी पार्टी, बसपा, झारखंड जनाधिकार मंच, ट्रक ऑनर एसोसिएशन।
बंद से मुक्त
चिकित्सा से जुड़ी सेवाएं अस्पताल, एम्बुलेंस और दवा दुकानों को बंद से मुक्त रखा गया है।
कहां कौन कर रहा नेतृत्व
धनबाद - डा. सबा अहमद (झाविमो), जलेश्वर महतो (जदयू)
हजारीबाग - भुनेश्वर मेहता (भाकपा), मुन्ना मल्लिक (झाविमो)
गढ़वा - रामचन्द्र केशरी (झाविमो), गिरिनाथ सिंह (राजद)
कोडरमा - अन्नपूर्णा देवी (राजद), खालीद खलिल (झाविमो)
जमशेदपुर - अभय सिंह (झाविमो)
सरायकेला-खरसावां - अरविन्द कुमार सिंह (झाविमो)
दुमका - पारितोष सोरेन (झाविमो)