आरबीआई गवर्नर के नाम की सिफारिश का जिम्मा सर्च कमेटी को
भारतीय रिजर्व बैंक के नए गवर्नर की नियुक्ति की सिफारिश कैबिनेट सचिव की अध्यक्षता वाली कमेटी द्वारा की जाएगी।
नई दिल्ली (जेएनएन)। रिजर्व बैंक के नए गवर्नर की नियुक्ति का मामले ने नया मोड़ ले लिया है। सरकार ने संसद को बताया है कि कैबिनेट सचिव की अध्यक्षता वाली एक कमेटी ही नए गवर्नर के नाम की सिफारिश करेगी। हालांकि बाद में सरकार के उच्च पदस्थ सूत्रों ने कहा कि यह जरूरी नहीं है कि कमेटी की सिफारिश सरकार स्वीकार ही कर ले। यह विशेषाधिकार सरकार के पास है। इस बारे में अंतिम फैसला प्रधानमंत्री कार्यालय वित्त मंत्री की सिफारिश के आधार पर करेगा।
सूत्र बताते हैं कि अभी ये स्पष्ट नहीं है कि रिजर्व बैंक के नए गवर्नर को लेकर कमेटी वाली प्रक्रिया अपनायी जाएगी या नहीं। ध्यान रहे कि रिजर्व बैंक के मौजूदा गवर्नर रघुराम राजन का कार्यकाल 4 सितम्बर को खत्म होना है। सरकार का कहना है कि उचित समय आने पर राजन के उत्तराधिकारी के नाम का ऐलान कर दिया जाएगा।
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लोकसभा में एक लिखित प्रश्न के उत्तर में वित्त राज्य मंत्री संतोष कुमार गंगवार ने जानकारी दी कि मंत्रिमंडलीय नियुक्ति समिति यानी एसीसी ने भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर और डिप्टी गवर्नर समेत वित्तीय क्षेत्र के विभिन्न रेग्युलेटरी एजेंसी के अध्यक्ष और सदस्यों के नामों की सिफारि़श देने के लिए फाइनेंशियल सेक्टर रेगुलेटरी अपाइंटमेंट सर्च कमेटी (एफएसआरएएससी) के गठन पर हरी झंडी जता दी है। इस कमेटी के मुखिया कैबिनेट सचिव होंगे जबकि प्रधानमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव, आर्थिक कार्य विभाग या वित्त सेवाएं विभाग के सचिव (जरूरत के मुताबिक), संबंधित रेगुलेटरी अथॉरिटी के अध्यक्ष और तीन बाहरी विशेषज्ञ सदस्य होंगे।
उधर, मंगलवार को राज्यसभा में एक प्रश्न के जवाब में वित्त राज्य मंत्री ने जवाब दिया कि रिजर्व बैंक के गवर्नर और चार डिप्टी गवर्नर की नियुक्ति केंद्र सरकार द्वारा की जाती है। डिप्टी-गवर्नरों की नियुक्ति एसीसी के दिशानिर्देशों के मुताबिक होती है और इस बारे में एक सर्च कमेटी नाम की सिफारिश करती है। वहीं जवाब में आगे बताया गया कि गवर्नर की नियुक्ति का अनुमोदन वित्त मंत्री की अनुशंसा पर प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा किया जाता है।
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सरकार ने ये भी साफ किया है कि डिप्टी-गवर्नरों की नियुक्ति संबंधी एसीसी दिशानिर्देश यथावत हैं। लेकिन, सर्च कमेटी में अब परिवर्तन किया गया है। अब, सर्च कमेटी यानी एफएसआरएएससी का गठन एसीसी के अनुमोदन से किया गया है। जवाब के मुताबिक 'यह समिति गवर्नर और उप-गवर्नर सहित वित्तीय क्षेत्र के विनियामकीय निकायों के अध्यक्ष और सदस्यों की नियुक्ति के लिए नामों की अनुशंसा करेगी।'
बाद में एक उच्च पदस्थ सरकारी सूत्र ने बताया कि गवर्नर के मामले में सर्च कमेटी सिफारिश जरूर कर सकती है, लेकिन ये जरूरी नहीं कि सरकार उस सिफारि़श के आधार पर ही कार्रवाई करे। उन्होंने ये भी कहा कि प्रधानमंत्री, वित्त मंत्री से राय-मशविरा करने के बाद नए नाम पर फैसला करेंगे। हालांकि जब उनसे ये पूछा गया कि राजन के उत्तराधिकारी के नाम का ऐलान कब तक हो जाएगा, तो उन्होंने स्पष्ट जवाब देने से इनकार कर दिया।
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