Move to Jagran APP

करोड़ों की संपत्ति पर थी बंटी की नजर, 50 दिन पहले रची गई थी हत्या की साजिश

साहिब खान उर्फ बंटी ने मुनव्वर की 2 करोड़ रुपये की संपत्ति हड़पने के लिए 50 दिन पहले ही साजिश रचना शुरू कर दिया था।

By Amit MishraEdited By: Published: Wed, 24 May 2017 06:03 PM (IST)Updated: Wed, 24 May 2017 10:12 PM (IST)
करोड़ों की संपत्ति पर थी बंटी की नजर, 50 दिन पहले रची गई थी हत्या की साजिश
करोड़ों की संपत्ति पर थी बंटी की नजर, 50 दिन पहले रची गई थी हत्या की साजिश

नई दिल्ली [विनीत त्रिपाठी]। बुराड़ी मे बसपा नेता मुनव्वर हसन, उसकी पत्नी और चार बच्चों की हत्या में नया खुलासा हुआ है। सनसनीखेज हत्याकांड के मास्टर माइंड प्रापर्टी डीलर साहिब खान उर्फ बंटी ने मुनव्वर की 2 करोड़ रुपये की संपत्ति हड़पने के लिए 50 दिन पहले ही साजिश रचना शुरू कर दिया था।

loksabha election banner

मां-बेटियों को रिश्तेदारो से मिलाने के बहाने सहारनपुर ले जाना, बेटो को मां से मिलाने के लिए अपने ऑफिस में बुलाना और फिर मुनव्वर को अंतरिम जमानत पर बाहर निकलवाना। यह सब बंटी की प्लानिंग का हिस्सा था। पांच हत्याओं को तो वह दबा गया। लेकिन मुनव्वर की हत्या ने उसके चेहरे से दरिंदगी का घिनौना नकाब उतार दिया।

संपत्ति का विवाद और हत्या की साजिश

करीब आठ साल पहले मुनव्वर हसन के साथ काम शुरू करने वाले बंटी की नजरें शुरू से उसकी 2 करोड़ रुपये कीमत की आधा दर्जन संपत्तियों पर थी। मुजफ्फर नगर निवासी मुनव्वर ने अपने परिजनों से रिश्ता तोड़ लिया था, ऐसे में 19 जनवरी को जब दुष्कर्म के आरोप में वह जेल चला गया तो बंटी को लगा कि यदि वह मुनव्वर समेत उसके पूरे परिवार को मार दे तो पूरी संपत्ति उसकी हो सकती है। साजिश के तहत बंटी ने पहले मुनव्वर के परिवार पर अपना विश्र्वास बढ़ाकर उसका कारोबार अपने हाथ मे लिया फिर 50 दिन पहले मार्च के अंतिम सप्ताह मे सुपारी किलर के साथ मिलकर साजिश रची।

यह भी पढ़ें: कॉलोनी में चल रहे सेक्स रैकेट का भंडाफोड़, शाम होते ही लग जाती थी वाहनों की कतार

रिश्तेदार से मिलाने के बहाने मां-बेटियों की हत्या

बंटी ने सबसे पहले मुनव्वर की पत्‍‌नी (मूलरूप से सहारनपुर निवासी) सोनिया उर्फ इशरत को उसकी बहन से मिलाने को तैयार किया। 19 अप्रैल को सोनिया व उसकी दो बेटियों आरजू (18) व आरशी (17) को अपनी एसएक्स-4 कार से लेकर सहारनपुर पहुंचा। 20 अप्रैल को दिल्ली वापसी में अपने दोस्त दीपक को भी साथ ले लिया। रात करीब 11 बजकर 30 मिनट पर जब बंटी दौराला के समौली गांव पहुंचा तो उसने कार को हाइवे से तीन किलोमीटर अंदर सूनसान जगह पर रोका। जहां चार सुपारी किलर पहले से मौजूद थे।

सुपारी किलर फिरोज ने आरशी को बाहर निकाला और कुछ दूर ले जाकर सिर में गोली मार दी। गोली की आवाज सुनकर चिल्लाती हुई सोनिया सुपारी किलर के पास पहुंची और बेटी को छोड़ने की मिन्नते करने लगी। उसने मदद के लिए बंटी की तरफ हाथ बढ़ाया, लेकिन वह दूर खड़ा मुस्कराता रहा। इतने में दूसरे सुपारी किलर जुल्फिकार ने सोनिया के सिर में गोली मार दी। अंत में आरजू के सिर में गोली मारी गई। हत्यारोपियों ने वहां पहले से ही खोदे गए गड्ढे मे तीनों कों दफन कर दिया और दिल्ली आ गए।

यह भी पढ़ें: 'जिसके दम पर चलता था मुनव्वर का सिक्का, उसी ने कर दी परिवार की हत्या'

बेटो को जमीन मे दफनाकर डाल दिया लेटर

21 अप्रैल को मुनव्वर के छोटे बेटे साकिब ने बंटी से मां और बहनों के बारे मे पूछा तो उसने बुराड़ी कमल विहार स्थित ऑफिस पर यह कहकर बुलाया कि मां यहीं आ रही है आ जाओ। जब साकिब वहां पहुंचा तो बंटी, दीपक व सुपारी किलर फिरोज और जुल्फिकार ने उसके मुंह मे कपड़ा ठूंस दिया और हाथ पैर बांध दिए। बंटी ने फिर फोन करके बड़े बेटे आकिब को बुलाया और उसे भी ऐसे ही बांध दिया। कई घंटे तक बंधे रहने के कारण दोनों का दम घुट गया।

ऑफिस के अंदर 7 फीट गहरा गड्ढा खोदकर हत्यारोपियों ने दोनों बच्चों को वहीं नमक डालकर दफन कर दिया। गड्ढा पाटने के बाद ऊपर से सीमेट से पक्का लेंटर भी डाल दिया। परिवार का खात्मा करने के बाद उसने मुनव्वर को पैरोल पर बाहर निकलवाया और फिर 20 मई को सुपारी किलर भेजकर उसकी भी हत्या करा दी। 

यह भी पढ़ें: ऑफिस में बने 7 फीट गहरे गड्ढे में छिपा था मौत का राज, पुलिस भी हुई हैरान


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.